Thursday, January 16, 2025 10:07 AM
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इस शिव मंदिर में होती है ‘मेंढक की पूजा’

भारत एक आस्था प्रधान देश है। भारत में कुछ ऐसे मंदिर मौजूद हैं जो देश-विदेश के श्रद्धालुओं को अपनी ओर आकर्षित करते हैं। खासकर भगवान शिव से संबंधित मंदिर देश के कोने-कोने में स्थित हैं। आम तौर पर देखा...

भोलेनाथ, माता पार्वती के विवाह का पावन पल है महाशिवरात्रि

-आज ही शिव लिंग के रुप में अवतरित हुए देवों के देव महादेव देवों के देव महादेव की स्तुति में शिवरात्रि का पर्व हर माह आता है। परंतु महाशिवरात्रि का पावन पर्व अन्य शिवरात्रि की तुलना में विशेष होता है।...

इस स्थान पर नहीं होती हनुमानजी की पूजा… लोग हैं हनुमान जी से नाराज़

भारत एक आस्था प्रधान देश है। भारत में विभिन्न देवी-देवताओं की पूजा की जाती है। इन देवी-देवताओं में हनुमान जी का अहम स्थान है। हनुमान जी से संबंधित मंदिर भारत के कोने-कोने में स्थित हैं। लेकिन आज हम आपको...

मंदिर के गर्भ में छिपा है पाताल तक जाने का रास्ता

-भक्तों से पहले पक्षी लगाते हैं प्रसाद का भोग भारत के प्राचीन मंदिर अपने आप में आलौकिक इतिहास को समेटे हुए हैं। हर मंदिर का अपना-अपना इतिहास है। वहां पर प्राण प्रतिष्ठित देवी देवता युगों युगों से अपने भक्तों की...

इन मंदिरों में पूजा-पाठ संग क्यों की जाती है तांत्रिक साधना

-तंत्र मंत्र से किया जाता है देवी देवताओं को प्रसन्न भारत में पौराणिक काल से ही मंदिरों में पूजा-पाठ के अलावा तंत्र-साधना को प्रमुखता दी जाती रही है। जो सदियां बीत जाने के बाद आज भी अनवरत जारी है। इन...

यहां पर एक रात में बनाई गई थी 999 मूर्तियां…

-यहां रोरो जोंग्गरंग को देवी दुर्गा के रुप में जाता पूजा दुनिया भर में हिंदू देवी देवताओं के अनेकों मंदिर हैं। वहां की परंपरा अनुसार उन्हें विभिन्न नामों से पुकार कर उनकी पूजा की जाती है। आईए आज आपको इंडोनेशिया...

श्रीलंका में मौजूद यह स्थान जीवंत करते हैं भगवान श्री राम की याद

-बीते 15 साल की जा रही है सोध रामायण काल के बाबत कई मान्यताएं हैं। एतिहासिक साक्ष्य न मिलने के कारण रामायण काल को केवल एक पौराणिक कथा के तौर पर देखा जाता रहा है, लेकिन श्री लंका में रामायण...

श्रीकृष्ण के श्राप कारण पांच हजार साल से भटक रहे हैं अश्वत्थामा

-किले के शिवमंदिर में प्रतिदिन पूजा करने आता है अश्वथामा यह सच है कि दिया गया श्राप कभी भी व्यर्थ नहीं जाता है। यही कारण है कि महाभारत काल में गुरु द्रोणाचार्य के बेट वीर अश्वथामा को एक चूक का...

मां लक्ष्मी संग कहां पर विराजमान हैं वराह और नृसिंह अवतार

-नृसिंह की प्रतिमा पर लगातार सारा साल किया जाता है चंदन का लेप भारत के कोने-कोने में प्राचीन मंदिर विद्यमान हैं। हर मंदिर में प्राण-प्रतिष्ठित प्रतिमाओं का रोमांचक इतिहास है। इतना ही नहीं इन मंदिरों की पूजा का विधान भी...

इस पावन स्थान पर जन्मे थे राम भक्त श्री हनुमान

-यहां के लोग अपने आप को मानते हैं हनुमान के वंशज लंकापति रावण की ओर से छल से माता सीता के हरण के बाद भगवान श्री राम के साथ हुए युद्ध में राम भक्त श्री हनुमान का अमूल्य योगदान रहा...