जि़ला स्तर पर डी.सी./एस.डी.एम. की निगरानी अधीन समितियाँ होंगी गठित
खाद्य एवं नागरिक आपूर्ति मंत्री ने कहा, असली लाभार्थियों को खाद्य सुरक्षा का पूरा लाभ देने के लिए सरकार प्रतिबद्ध
चंडीगढ़: मुख्यमंत्री भगवंत मान के नेतृत्व वाली पंजाब सरकार राज्य के लोगों को खाद्य सुरक्षा का पूरा लाभ देने के लिए प्रतिबद्ध है। इसलिए राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा एक्ट, 2013/स्मार्ट राशन कार्ड स्कीम के अधीन आने वाले लाभार्थियों की वैरीफिकेशन करने का फ़ैसला किया गया है, जिससे नाजायज तरीके से राशन ले रहे लोगों को इस स्कीम से बाहर रखा जाए।
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राज्य के खाद्य, नागरिक आपूर्ति एवं उपभोक्ता मामले मंत्री श्री लाल चंद कटारूचक्क ने आज पत्रकारों के साथ बातचीत के दौरान यह जानकारी देते हुए बताया कि इस स्कीम के अधीन आने वाले लाभार्थियों की वैरीफिकेशन नए सिरे से करने का फ़ैसला किया गया है, जिसके अंतर्गत विभाग के आर.सी.एम.एस. पोर्टल पर मौजूद हर श्रेणी (सिवाए एच.आई.वी./एड्ज़ प्रभावित, महिला वर्कर और कोविड के दौरान जिन बच्चों के माता-पिता या परिवार के प्रमुख की मौत हो गई थी), के शामिल लाभार्थियों की वैरीफिकेशन करते हुए अयोग्य लाभार्थियों के नाम/कार्ड काटने का फ़ैसला लिया गया है।
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मंत्री ने आगे बताया कि वैरीफिकेशन का काम राज्य भर में सम्बन्धित डिप्टी कमिश्नर/एस.डी.एम. की निगरानी अधीन किया जाएगा और इसके लिए समितियाँ भी गठित की जाएंगी। ग्रामीण हलकों के लिए सम्बन्धित राजस्व पटवारी और डिप्टी कमिश्नर द्वारा नामज़द कोई एक अधिकारी जोकि जी.ओ.जी. मेंबर हो, इस समिति का मैंबर बन सकता है। शहरी हलकों के लिए सम्बन्धित कार्यसाधक अफ़सर, कमिश्नर म्यूनिसिपल कॉर्पोरेशन या उनके प्रतिनिधि और सम्बन्धित जी.ओ.जी. मेंबर ( उपलब्धता के अनुसार) समितियों के मैंबर होंगे।
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मौजूदा लाभार्थियों की सूचियों और निर्धारित फार्म सम्बन्धित जि़ला खाद्य आपूर्ति कंट्रोलर से हासिल करके वैरीफिकेशन की प्रक्रिया के दौरान सभी मौजूदा लाभार्थियों के योग्य/अयोग्य होने के विवरण अनिवार्य रूप से इनमें दर्ज किए जाएंगे और वैरीफिकेशन के दौरान अयोग्य पाए जाने वाले लाभार्थियों के नाम काटे जाने के कारण स्पष्ट किए जाएंगे। इसके अलावा कैंटोनमैंट एरीए के लिए सम्बन्धित जि़ले के डी.सी. द्वारा अपनी गठित समिति द्वारा ही वैरीफिकेशन करवाई जाएगी।
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श्री कटारूचक्क ने आगे जानकारी दी कि वैरीफिकेशन किए गए फार्म रोज़ाना के आधार पर सम्बन्धित जि़ला कंट्रोलर, खाद्य, नागरिक आपूर्ति एवं उपभोक्ता मामले को भेजने सुनिश्चित बनाए जाएंगे, जिससे यह सारा डेटा आर.सी.एम.एस. पोर्टल पर अपलोड किया जा सके। इसके अलावा यह सारी कार्यवाही हर जि़ले में 30 सितम्बर, 2022 तक मुकम्मल करके योग्य/अयोग्य लाभार्थी परिवारों की अंतिम तस्दीकशुदा सूचियां सम्बन्धित जि़ला खाद्य एवं आपूर्ति कंट्रोलर के दफ़्तर को भेजी जाएंगी, जोकि वैरीफिकेशन से पहले लाभार्थी, वैरीफिकेशन के दौरान अयोग्य पाए गए लाभार्थी और वैरीफिकेशन के दौरान योग्य पाए गए लाभार्थी, आदि मापदण्डों पर आधारित होंगी। निर्धारित मापदण्डों के सम्मुख मौजूदा लाभार्थियों को योग्य/अयोग्य करार देने के लिए सम्बन्धित डी.सी./एस.डी.एम. अंतिम समर्थ अधिकारी होगा।