स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण और मैडीकल शिक्षा एवं अनुसंधान विभागों के सांझे काडर का विभाजन होेगा

चंडीगढ़, 24 फरवरीः
मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिन्दर सिंह के नेतृत्व में मंत्रीमंडल ने स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण और मैडीकल शिक्षा एवं अनुसंधान विभागों के कामन काडर का विभाजन करने की मंजूरी दे दी है।
इसका उद्देश्य दोनों विभागों की कंट्रोलिंग अथारिटी और नियमों के विभाजन के द्वारा इन दोनों विभागों के दरमियान काडर के मामलों के साथ पैदा होते विवाद के हल में तेजी लाना है।

 

ना बढ़ेगा शुगर ना बड़े B.P. सटीक फार्मूला || Dr. Biswaroop Roy Chowdhury ||

जिक्रयोग्य है कि पंजाब के अस्तित्व के समय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग और मैडीकल शिक्षा एवं अनुसंधान विभाग एक ही विभाग थे और साल 1945 के नियम सांझे थे।
बाद में मैडीकल शिक्षा एवं अनुसंधान और स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण अलग-अलग हो गए और डायरैक्टोरेट, स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग और डायरैक्टोरेट, मैडीकल शिक्षा एवं अनुसंधान विभाग की स्थापना हुई थी। मैडीकल शिक्षा एवं अनुसंधान विभाग 2 अप्रैल, 1973 में अस्तित्व में आया परन्तु डायरैक्टोरेट, मैडीकल शिक्षा और अनुसंधान विभाग के अधीन पैरा-मैडीकल स्टाफ की अलग-अलग कैटागरियों से सम्बन्धित अमले की काडर कंट्रोलिंग अथारिटी अभी भी स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग है और दफ्तरी अमले दर्जा -3 और दर्जा-4 की डायरैक्टोरेट, स्वास्थ्य एवं परिवार भलाई में साझी सीनियरता है।

-NAV GILL

LEAVE A REPLY