चंडीगढ़, 18 फरवरी:
सरकारी स्कूलों को स्मार्ट स्कूलों में बदलने के साथ-साथ मुख्य मंत्री कैप्टन अमरिन्दर सिंह के नेतृत्व वाली पंजाब सरकार द्वारा स्मार्ट क्लासरूम्ज़ के रूप को सुधारने पर भी ज़ोर दिया जा रहा है। इन शब्दों का प्रगटावा करते हुए स्कूल शिक्षा मंत्री पंजाब श्री विजय इंदर सिंगला ने बताया कि इस मंतव्य के अंतर्गत 16,359 सरकारी प्राथमिक, माध्यमिक, हाई और सीनियर सेकंडरी स्कूलों में स्थापित किए गए स्मार्ट क्लासरूमों के रूप को और सुंदर बनाने के लिए 11 करोड़ 94 लाख 72 हज़ार रुपए का अनुदान जारी किया गया है।
कैबिनेट मंत्री ने बताया कि शिक्षा विभाग द्वारा विद्यार्थियों को गुणात्मक और मानक शिक्षा देने के लिए स्कूलों में प्रोजैक्टर और एल.ई.डीज़. मुहैया करवाई गई हैं। उन्होंने कहा कि स्मार्ट क्लासरूमों में प्रोजैक्टरों की उपलब्धता के साथ-साथ कमरों के रूप को सुधारने के लिए पंजाब सरकार ने 3,000 रुपए प्रति स्मार्ट क्लासरूम स्कूलों को दिया है। उन्होंने कहा कि प्राथमिक और माध्यमिक स्कूलों को 2-2 क्लासरूम्ज़ के लिए 6000-6000 रुपए, हाई स्कूलों को 3-3 स्मार्ट क्लासरूम्ज़ के लिए 9000-9000 रुपए और सीनियर सेकंडरी स्कूलों को 5-5 स्मार्ट क्लासरूम्ज़ के लिए 15000-15000 रुपए अनुदान जारी किया गया है।
श्री विजय इंदर सिंगला ने बताया कि यह अनुदान क्लासरूम में पेंट या बाला वर्क करवाने, क्लासरूम के बाहर डोर मैट, खिडक़ी दरवाजों के पर्दों के लिए, क्लासरूम में डिस्पले बोर्ड के लिए, कोर्स हैंडलर, मारकर-डस्टर हैंडलर, की-बोर्ड, माऊस और प्रोजेक्टर के रिमोट के सुरक्षा बॉक्स, प्वाइंटर, लेजऱ लाईट, कूड़ादान आदि की खरीद के लिए इस्तेमाल की जा सकेगी। श्री सिंगला ने बताया कि अनुदान के प्रयोग के लिए शिक्षा विभाग द्वारा समूह जि़ला शिक्षा अफसरों को हिदायतें जारी कर दी गई हैं और यह लाजि़मी तौर पर सुनिश्चित बनाया जाएगा कि यह फंड कमरों के रूप को सुधारने के लिए ही इस्तेमाल किए जाएँ।
जारी की गई हिदायतों में कहा गया है कि स्मार्ट क्लासरूमों को अंदर और बाहर से बढिय़ा रूप देने के लिए खिड़कियाँ-दरवाज़े अच्छे ढंग से पेंट करवाए जाएँ। वाइट बोर्ड दीवार पर लगाने के लिए समतल जगह हो और दीवार को रंग किया हो तो समार्ट क्लासरूम का प्रभाव बढिय़ा बनता है। प्रोजेक्टर को मिट्टी-धूल से बचाया जाना ज़रूरी है और इसी तरह की-बोर्ड, माउस और प्रोजेक्टर का रिमोर्ट भी सुरक्षित बॉक्स में रखा जाये। स्मार्ट क्लासरूम्ज़ की सुरक्षा यकीनी बनाए रखने के लिए बिजली के सविच्च स्कूल में छुट्टी होने पर या प्रोजेक्टर का प्रयोग न होने पर बंद करके रखा जाना भी यकीनी बनाया जाये। विभाग द्वारा जि़ला स्मार्ट स्कूल मैंटरों और विभिन्न विषयों के जि़ला मैंटरों की ड्यूटी लगाई गई है कि इन स्मार्ट क्लासरूम्ज़ की साप्ताहिक रिपोर्ट भी तैयार की जाये, जिससे मुख्य दफ़्तर द्वारा वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के द्वारा स्कूलों में चल रहे कार्यों का रिविऊ भी किया जा सके।
-NAV GILL