चंडीगढ़, 4 फरवरी:
पंजाब विजिलेंस ब्यूरो ने आज एक एसिसटेंस सब-इंस्पैक्टर (एएसआई) और एक सीनियर कांस्टेबल को 10,000 रुपए की रिश्वत लेते हुए रंगे हाथों दबोच लिया।
राज्य विजिलेंस ब्यूरो के एक प्रवक्ता ने आज यहां यह खुलासा करते हुए बताया कि कृष्ण कुमार, एएसआई (नंबर 1005 / मोहाली) और सीनियर कांस्टेबल अजय गिल (नंबर 982 / मोहाली), दोनों पुलिस पोस्ट फेज़ -8, मोहाली में तैनात थे, को हिमाचल प्रदेश के कांगड़ा जिला, गांव नाहन के शिकायतकर्ता करण सिंह जोकि अब मोहाली में रह रहा है, की शिकायत पर 10,000 रुपये की रिश्वत लेते हुए विजिलेंस टीम द्वारा गिरफ्तार किया गया।
उन्होंने आगे बताया कि शिकायतकर्ता ने विजिलेंस ब्यूरो को अपनी शिकायत में बताया कि उपरोक्त पुलिस कर्मी उसकी इंडस्ट्रियल एरिया फेज़ 8, मोहाली में स्थित सियाराम लोन फर्म से उठाए गए लैपटॉप, प्रिंटर और अन्य मूल्यवान वस्तुओं को वापस करने के बदले 25,000 रुपये की मांग कर रहे थे। शिकायतकर्ता ने बताया कि जब वह पुलिस चौकी पर पहुंचा, तो अजय गिल ने कहा कि यदि उसे अपनी वस्तुएं वापस चाहिएं तो उसे 20,000 रुपये की रिश्वत देनी होगी। उस समय, शिकायतकर्ता ने उन्हें 8,000 रूपए की रिश्वत दी थी जिसे उसने अपने दोस्त से उधार लिए थे।
इस उपरांत कुछ दिनों बाद सीनियर कांस्टेबल अजय गिल एक और कर्मचारी के साथ दोबारा उसके दफ़्तर आया और उसको रिश्वत की बकाया रकम देने की धमकी दी। सीनियर कांस्टेबल ने उसको रिश्वत देने के लिए पुलिस चौकी में कृष्ण कुमार, ए.एस.आई. और एक अन्य ए.एस.आई. के आगे पेश किया।
दोनों ए.एस.आईयों ने उसके विरुद्ध धोखाधड़ी का केस दर्ज करने की धमकी दी और उसे 25,000 रुपए की रिश्वत देने के लिए कहा। इस कारण उसने मौके पर ही उनको 15,000 रुपए की रिश्वत दे दी।
शिकायतकर्ता की तरफ से दी गई जानकारी की पुष्टि करने के बाद विजिलेंस की एक टीम ने दोषी एएसआई कृष्ण कुमार को दो सरकारी गवाहों की हाजिऱी में शिकायतकर्ता से रिश्वत के बाकी 10,000 रुपए लेते हुए मौके पर ही गिरफ्तार कर लिया।
उन्होंने बताया कि भ्रष्टाचार रोकथाम कानून के अंतर्गत दोषी कृष्ण कुमार, अजय गिल और एक अन्य एएसआई के विरुद्ध विजीलैंस के फ्लाईंग सकुऐड थाना मोहाली में मामला दर्ज किया गया है और आगे की पड़ताल जारी है।
-NAV GILL